अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव 2024 में ब्रह्म सरोवर के पावन तट पर पर्यटकों के लिए शिल्पकला, नाट्य कला, संस्कृति और खानपान का समृद्ध संगम देखने को मिल रहा है। इन सबके बीच, उत्तराखंड के दोहनिया नैनीताल से आई दमयंती बिष्ट का जैविक उत्पादक समूह पर्यटकों को पहाड़ी जैविक खान-पान से रूबरू करवा रहा है। उनके स्टॉल पर दाल, मसाले, औषधियां और अन्य जैविक उत्पादों की विविधता पर्यटकों के बीच आकर्षण का केंद्र बनी हुई है।
दमयंती बिष्ट ने बताया कि उनके स्टॉल पर उत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में उत्पन्न होने वाले जैविक उत्पाद जैसे काले राजमा, उड़द, चना, लाल मिर्च, धनिया, हल्दी, मेथी, गहत, भट्ट, भांग दाना, अदरक, गडेरी, महुवा का आटा, भट्ट का आटा, अरहर और अन्य उत्पाद उपलब्ध हैं। इन जैविक उत्पादों को उन्होंने उत्तराखंड जैविक उत्पाद परिषद देहरादून के सहयोग से बढ़ावा दिया है, जो लोगों को रोजगार भी प्रदान करता है।
दमयंती बिष्ट ने यह भी बताया कि पिछले 6 वर्षों से वह गीता महोत्सव में भाग ले रही हैं और कुरुक्षेत्र के लोग उनके उत्पादों को बहुत पसंद करते हैं। गीता महोत्सव के अलावा, वह देशभर में आयोजित होने वाले महोत्सवों और ट्रेड फेयर में भी उत्तराखंड के जैविक खाद्य पदार्थों का प्रदर्शन करती हैं।