अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव में लोकनृत्यों ने महोत्सव के आकर्षण को और भी बढ़ा दिया!
इन नृत्य प्रस्तुतियों ने न केवल दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया, बल्कि गीता के शाश्वत संदेश को सजीव रूप में प्रस्तुत किया। हर एक नृत्य ने भारतीय संस्कृति की अमूल्य धरोहर को जीवंत किया, जो महोत्सव को सांस्कृतिक दृष्टि से समृद्ध बनाता है।