आओ लौट चले प्रकृति की ओर वन विभाग के प्रशिक्षुओं की अपील।
तीर्थ यात्रियों ने ली शपथ पौधे को संवार कर बनाएगे वृक्ष, करेगे प्रकृति का श्रृंगार
11 दिसम्बर 2021
मुख्यमंत्री श्री मनोहर लाल के हरा-भरा हरियाणा के सपने को साकार करने के लिए अंतर्राष्ट्रीय गीता महोत्सव के अवसर पर वन मंत्री श्री कंवरपाल जी की प्रेरणा से श्री वी. एस. तवर, प्रधान मुख्य वन संरक्षक के मार्गदर्शन में श्री जी रमण मुख्य वन संरक्षक के सानिध्य मे आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर कुरूक्षेत्र ब्रहमसरोवर के पवित्र घाट पर वन विभाग के प्रचार एवं प्रसार, विभाग द्वारा ‘‘किताबें कहती हैं आ लौट चले प्रकृति की ओर’ विषय पर पर्यावरण प्रदर्शनी एवं विमर्श का आयोजन किया गया। पर्यावरण प्रदर्शनी का उद्घाटन करते हुए मुख्य वन संरक्षक श्री जी. रमण ने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के अवसर पर गीता जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित पुस्तक मेला परिसर में पर्यावरण प्रदर्शनी का आयोजन करना वास्तव में गीता को सच्चे अर्थो में आत्मसात करने की एक कोशिश है। उन्होंने कहा कि भगवतगीता में भगवान कृृष्ण कहते हैं कि समूचे ब्रहमाण्ड में मैं ही व्याप्त हूं और सृृष्टि के समस्त पदार्थ मुझमें ऐसे जुड़े हैं जैसे हार में मोती। इस प्रकार पर्यावरण भी एक आभूषण है तथा वायु, जल, थल, वनस्पति आदि तत्व मोती। ईश्वर द्वारा बनाये गये इस आभूषण का सौन्दर्य मनुुष्य के अनैतिक क्रियाकलापों के कारण खत्म होता जा रहा है। अतः पर्यावरण के प्रति हमारा नैतिक कर्तब्य है कि हम इसकी रक्षा करें तथा इस आभूषण की पहुची क्षति को ठीक करें। उन्होंने कहा कि ब्रहमसरोवर के पवित्र तट पर इतने श्रद्धालु आ रहे हैं यदि सभी लोग एक शपथ लेकर जाये कि वो कभी भी पवित्र जल की पवित्रता को नष्ट नहीं करेगें तथा पर्यावरण प्रहरी बनेगें और लोगों को भी अपने साथ जोड़ते हैं तो सही मायनों में गीता महोत्सव का कुछ हद तक उद््ेदश्य सफल हो जायेगा।